रांची। झारखंड में अब लोग ग्रहों, तारे और नक्षत्रों के बारे में और अधिक जान और समझ पाएंगे। राज्य सरकार और केंद्र सरकार मिलकर लातेहार और रामगढ़ जिलों में दो एस्ट्रो साइंस सेंटर स्थापित करने जा रही हैं। इन केंद्रों में विशेष रूप से बच्चों के लिए डिज़िटल तारामंडल की सुविधा होगी, जो खगोल विज्ञान को एक रोमांचक और ज्ञानवर्धक अनुभव प्रदान करेगा।
एस्ट्रो साइंस सेंटर की स्थापना
लातेहार जिले के नेतरहाट और रामगढ़ जिले के पतरातू में एस्ट्रो साइंस सेंटर स्थापित किए जाएंगे। यह पहल केंद्रीय संस्कृति मंत्रालय और झारखंड सरकार की संयुक्त योजना के तहत “स्कीम फॉर प्रमोशन ऑफ कल्चर ऑफ साइंस” के तहत हो रही है। इन केंद्रों का उद्देश्य लोगों को खगोल विज्ञान, अंतरिक्ष विज्ञान और अन्य खगोलीय पिंडों के बारे में ज्ञान प्रदान करना है।
डिजिटल तारामंडल: बच्चों के लिए अद्भुत अनुभव
एस्ट्रो साइंस सेंटर में एक डिजिटल तारामंडल की स्थापना की जाएगी, जो बच्चों के लिए विशेष रूप से आकर्षक और जानकारीपूर्ण होगा। इसके माध्यम से बच्चे तारे, ग्रह और नक्षत्रों को करीब से देख सकेंगे और इनके बारे में सटीक जानकारी प्राप्त कर सकेंगे।
केंद्र सरकार और राज्य सरकार का योगदान
इस परियोजना के निर्माण में अनुमानित लागत लगभग 13 करोड़ रुपये है। केंद्र सरकार द्वारा 2.86 करोड़ रुपये और झारखंड सरकार द्वारा 3.79 करोड़ रुपये प्रदान किए जाएंगे। प्रत्येक एस्ट्रो साइंस सेंटर के निर्माण के लिए कुल 6 करोड़ 65 लाख रुपये खर्च होंगे।
नेतरहाट और पतरातू में एस्ट्रो साइंस सेंटर की भूमि चयन
नेतरहाट में महुआटांड़ अंचल के नेतरहाट मौजा में 5.64 एकड़ भूमि को चिन्हित किया गया है, जबकि पतरातू में पतरातू अंचल के हेसला मौजा में 3.17 एकड़ भूमि का चयन किया गया है।
एस्ट्रो साइंस सेंटर में उपलब्ध सुविधाएं
एस्ट्रो साइंस सेंटर में कई प्रमुख सुविधाएं होंगी, जिनमें “गैलरी ऑफ एस्ट्रोनॉमी एंड एस्ट्रोफिजिक्स”, “इनोवेशन एंड एक्टिविटी सेंटर” और “आउटडोर एग्जिबिट्स बेस्ड ऑन एस्ट्रोनॉमी” शामिल हैं। इसके अतिरिक्त, एस्ट्रो साइंस से संबंधित शोध कार्य, वर्कशॉप और सेमिनार का आयोजन भी किया जाएगा।
यह केंद्र खगोल विज्ञान के प्रति आम लोगों और विशेष रूप से बच्चों में रुचि बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और उन्हें विज्ञान के क्षेत्र में नई जानकारी प्राप्त करने का अवसर प्रदान करेगा।
झारखंड में एस्ट्रो साइंस सेंटर का निर्माण न केवल राज्य के लोगों के लिए एक ज्ञानवर्धक पहल है, बल्कि यह भारतीय विज्ञान के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। एस्ट्रो पार्क और डिजिटल तारामंडल बच्चों और युवाओं को खगोल विज्ञान की ओर आकर्षित करने में मदद करेंगे और राज्य में विज्ञान के क्षेत्र में नई क्रांति ला सकते हैं।