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Bihar Assembly uproar : बिहार विधानसभा में भारी हंगामा: कुर्सियां उछालीं, टेबल पलटे, विपक्ष ने SIR पर मांगा जवाब

by Anand Mishra
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Patna (Bihar) : बिहार विधानसभा में मंगलवार को उस समय अभूतपूर्व स्थिति उत्पन्न हो गई, जब दूसरे सत्र की कार्यवाही के दौरान विपक्षी दलों ने विशेष मतदाता सूची पुनरीक्षण (SIR) के मुद्दे पर जमकर हंगामा मचाया। महागठबंधन के विधायक काली पोशाक में सदन पहुंचे और कार्यवाही शुरू होते ही सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए वेल में आ गए।

सदन में मची अफरा-तफरी, मार्शल से धक्का-मुक्की

सदन की कार्यवाही जैसे ही शुरू हुई, विपक्षी विधायकों ने एसआईआर पर तत्काल चर्चा कराने की मांग को लेकर जोरदार प्रदर्शन शुरू कर दिया। इसी दौरान, राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के विधायक सुरेंद्र राम रिपोर्टर की टेबल पर चढ़ने की कोशिश करने लगे, जिसे रोकने के प्रयास में मार्शलों के साथ उनकी तीखी धक्का-मुक्की हुई। स्थिति इतनी बिगड़ गई कि सुरेंद्र राम नीचे गिर पड़े और प्रतिक्रिया में उन्होंने भी एक मार्शल को पकड़ने का प्रयास किया।

रिपोर्टर टेबल पर चढ़ने की कोशिश, कुर्सियां फेंकी गईं

विरोध प्रदर्शन के दौरान राजद के विधायक सतीश दास और सुरेंद्र राम लगातार रिपोर्टर टेबल पर चढ़ने की कोशिश करते रहे। इस बीच, आक्रोशित विपक्षी विधायकों ने रिपोर्टर की कुर्सियां उठाकर फेंक दीं। कागज के टुकड़े नेता सदन और विधानसभा अध्यक्ष की ओर उछाले गए। सदन में सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने के लिए मार्शलों को काफी मशक्कत करनी पड़ी।

अध्यक्ष की चेतावनी के बाद भी हंगामा जारी, कार्यवाही स्थगित

सदन में इस अराजक स्थिति को देखते हुए विधानसभा अध्यक्ष नंदकिशोर यादव ने कई बार विपक्षी विधायकों को चेतावनी दी और कहा कि “राज्य की जनता आप सभी की करतूत देख रही है।” इसके बावजूद जब स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ, तो उन्होंने मजबूर होकर कार्यवाही को दिन के ढाई बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।

तेजस्वी यादव ने की एसआईआर पर विशेष चर्चा की मांग

विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने सदन की कार्यवाही शुरू होते ही एसआईआर मुद्दे पर कार्य स्थगन प्रस्ताव को स्वीकार करते हुए तत्काल विशेष चर्चा कराने की मांग की। उन्होंने कहा कि “एसआईआर मतदाताओं के अधिकार से जुड़ा एक अत्यंत संवेदनशील विषय है।” तेजस्वी यादव ने यह भी कहा कि “अगर मतदाता सूची से ही लाखों लोगों के नाम हटा दिए जाएंगे तो लोकतंत्र का क्या अर्थ रह जाएगा?”

लोकतंत्र विरोधी प्रक्रिया का आरोप

तेजस्वी यादव ने इस पूरी प्रक्रिया को लोकतंत्र विरोधी करार देते हुए कहा कि बिहार लोकतंत्र की जननी है और यहां मतदाताओं के अधिकारों के साथ किसी भी प्रकार का समझौता नहीं किया जाना चाहिए। हालांकि, विधानसभा अध्यक्ष नंदकिशोर यादव ने तेजस्वी यादव की इस मांग को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि सदन में पहले से ही कई महत्वपूर्ण विधायी कार्य सूचीबद्ध हैं, जिन्हें पूरा किया जाना है।

हंगामे के बीच छह विधेयक पारित, बुधवार तक स्थगित

भारी हंगामे के बावजूद विधानसभा अध्यक्ष ने सरकार द्वारा लाए गए छह विधेयकों को ध्वनिमत से पारित कर दिया। इसके बाद, उन्होंने सदन की कार्यवाही को बुधवार, पूर्वाह्न 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया। इससे पहले, अध्यक्ष ने स्पष्ट रूप से कहा कि विपक्ष का असली उद्देश्य मुद्दे पर रचनात्मक चर्चा करना नहीं है, बल्कि केवल हंगामा करके सदन की कार्यवाही को बाधित करना है।

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