पटना : BPSC: फर्जीवाड़े की एक और घटना सामने आने के बाद बिहार में शिक्षा विभाग में एक बार फिर हड़कंप मच गया है। BPSC पास होने का दावा करनेवाले फर्जी शिक्षक को गिरफ्तार किया गया है। आरोपी की पहचान मिथुन कुमार के रूप में की गई है। वह खगड़िया जिले के अलौली थाना क्षेत्र के गोरियामी गांव के प्राथमिक विद्यालय पिपरपांती में कार्यरत था। पुलिस इस फर्जी शिक्षक से पूछताछ में जुटी है।
BPSC: दस्तावेज सत्यापन में सामने आया फर्जीवाड़ा
मिथुन कुमार भागलपुर जिले के खरीक प्रखंड के राघोपुर का रहने वाला है। उसने BPSC की परीक्षा में 98.75 अंक प्राप्त कर प्रथम श्रेणी से सफलता प्राप्त करने का दावा कर रखा था। मिथुन कुमार को बायोमेट्रिक सत्यापन के दौरान फर्जी पाया गया। इसके बाद उसे पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। बताया जा रहा है कि मिथुन कुमार ने दो महीने का वेतन भी उठाया है।
शिक्षा विभाग ने दिए जांच के आदेश
इस मामले में शिक्षा विभाग ने जांच के आदेश दिए हैं। शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा कि फर्जी शिक्षकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। इस मामले से बिहार में शिक्षा व्यवस्था की पोल खुल गई है। यह सवाल उठ रहा है कि शिक्षा विभाग में इतनी बड़ी गड़बड़ी कैसे हो गई? क्या विभाग के अधिकारी अपनी जिम्मेदारियों से इतने अंजान हैं? हालांकि छीछालेदर होने के बाद अब शिक्षा विभाग को ठोस कार्रवाई करने की तैयारी में है। लोगों का कहना है कि बिहार की छवि खराब करनेवाले ऐसे फर्जी मामलों में कठोर सजा मिलनी चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।
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