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जमशेदपुर सहित आसपास के इलाकों में डेंगू का कहर: महिला की गई जान, जानें क्या है स्थिति

by Rakesh Pandey
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हेल्थ डेस्क, जमशेदपुर : झारखंड के जमशेदपुर सहित आसपास के इलाके में डेंगू का कहर जारी है। बीमारी से मौत के मामले लगातार बढ़ रहा हैं। सोमवार को आदित्यपुर की एक महिला की मौत डेंगू से हो गई। 56 वर्षीय महिला ललिता शर्मा की तबीयत बिगड़ने पर उन्हें 29 अगस्त को टीएमएच में भर्ती कराया गया था। इसके बाद 30 अगस्त को उसकी स्थिति और भी गंभीर हो गई। इसे देखते हुए उसे आईसीयू में भर्ती किया गया। इसी बीच जांच कराने पर डेंगू की पुष्टि हुई।

महिला डेंगू के अलावा मधुमेह, रक्तचाप, क्रोनिक किडनी सहित अन्य बीमारियों से भी ग्रस्त थी। इससे पूर्व भी आदित्यपुर क्षेत्र में एनआइटी में डेंगू से एक मौत हो चुकी है। वहीं, जमशेदपुर में अभी तक डेंगू से कुल चार लोगों की मौत हो चुकी हैं।

एग्रिको में एक युवक की मौत

जमशेदपुर के एग्रिको मधुसूदन लिट्टी चौक निवासी एक युवक की भी मौत हुई है। मृतक का नाम राजवीर सिंह है, जिसे बुखार होने पर टेल्को स्थित टाटा मोटर्स अस्पताल में भर्ती कराया गया था। सोमवार की सुबह इलाज के क्रम में उसकी मौत हो गई।

मृतक के परिजनों ने डेंगू होने की बात कह रहे हैं लेकिन स्वास्थ्य विभाग ने अभी तक पुष्टि नहीं की है। मृतक राजवीर सिंह क्रिकेट भी सीखता था और वह एग्रिको तारापोर स्कूल में कक्षा आठवीं का छात्र था।

एमजीएम में अधीक्षक डॉ रविंद्र कुमार से मिलते पूर्व डीआईजी राजीव रंजन।

108 संदिग्ध मरीज मिले

जमशेदपुर में डेंगू के आठ नए मरीज मिले हैं। वहीं, 108 डेंगू के संदिग्ध मरीज मिले। जिला सर्विलांस विभाग ने उन मरीजों का नमूना लेकर जांच के लिए एमजीएम मेडिकल कालेज भेजा है। रिपोर्ट अगले दो दिनों के अंदर आने की उम्मीद है।

जिले में अबतक कुल 4528 सैंपल की जांच में 629 लोग डेंगू पाजिटिव मिले हैं। वर्तमान में 290 लोगों का इलाज शहर के विभिन्न अस्पतालों में चल रहा है। इसमें आठ की स्थिति गंभीर है, जिन्हें आइसीयू में भर्ती कराया गया हैं। वहीं, 282 मरीज सामान्य वार्ड में भर्ती हैं। सोमवार को 73 मरीज स्वस्थ होकर घर लौटे।

एमजीएम अस्पताल में 50 नए बेड बढ़ाए गए

मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए कोल्हान के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल एमजीएम में 50 नए बेड बढ़ाए गये हैं। अधीक्षक डा. रविंद्र कुमार ने बताया कि अस्पताल में डेंगू, वायरल फीवर सहित अन्य मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है, जिससे इमरजेंसी विभाग में बेड की कमी होने लगी थी। इसे देखते हुए नेत्र रोग विभाग में 50 नए बेड लगाए गए हैं। ताकि वहां मेडिसिन विभाग के मरीजों को भर्ती किया जा सकें।

फिलहाल मेडिसिन विभाग में एक भी बेड खाली नहीं है। यहां तक की वार्ड के बरामदे में भी बेड लगाकर मरीजों को भर्ती किया गया है। अधीक्षक द्वारा इमरजेंसी विभाग के इंचार्ज को निर्देश दिया गया है इमरजेंसी चिकित्सा के बाद मरीजों को वार्ड में शिफ्ट किया जाए। ताकि मरीजों को फर्श पर भर्ती करने की नौबत नहीं आए।

पूर्व डीआईजी ने एमजीएम का लिया जायजा

पूर्व डीआईजी सह भाजपा नेता राजीव रंजन ने एमजीएम अस्पताल की व्यवस्था से अवगत हुए। इस दौरान उन्होंने इमरजेंसी सहित अन्य विभागों का जायजा लिया। राजीव रंजन ने पाया कि इमरजेंसी वार्ड में एक शव घंटों देर से पड़ी हुई थी। इसे देखते हुए राजीव रंजन ने अधीक्षक से मिलकर शव को हटाने का आग्रह किया। अधीक्षक के संज्ञान में उक्त बात आते ही शव को शवगृह में रखा गया।

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एमजीएम के इमरजेंसी में अवैध रूप से प्रवेश करने वालों पर होगी कार्रवाई

एसडीओ पीयूष सिन्हा ने एमजीएम मेडिकल कालेज अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचे। इस दौरान इमरजेंसी विभाग का जायजा लिया और मरीजों को मिलने वाली सुविधाओं से अवगत हुए। निरीक्षण करने के बाद एसडीओ ने कहा कि बीते दिनों मरीजों को फर्श पर लेटाकर इलाज करने की बात सामने आई थी लेकिन निरीक्षण के क्रम में एक भी मरीज फर्श पर नहीं पाए गए।

वहीं, उन्होंने यह भी कहा कि कुछ लोग बिना मतलब के इमरजेंसी विभाग में आते-जाते रहते हैं। वैसे लोगों का नाम, पता व फोन नंबर लिखने का निर्देश होम गार्ड के जवानों को दिया गया है। एसडीओ ने कहा कि अवैध रूम से इमरजेंसी में आने वाले लोगों के खिलाफ सख्ती के साथ कार्रवाई की जाएगी। निरीक्षण के दौरान एसडीओ के साथ लिपिक राजीव बनर्जी भी मौजूद थे।

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