देवघर : झारखंड के देवघर जिले में डॉक्टरों द्वारा दो दिनों से जारी हड़ताल गुरुवार देर शाम समाप्त कर दी गई। यह हड़ताल रविवार को देवघर के बाजला चौक स्थित एक निजी क्लीनिक के चिकित्सक डॉ. कुंदन के साथ हुई मारपीट की घटना के विरोध में की गई थी। घटना के बाद जिले के सभी सरकारी चिकित्सकों ने सामूहिक रूप से ओपीडी सेवाओं का बहिष्कार कर दिया था, जिससे मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा।
डॉक्टरों की मांग पर हुई त्वरित कार्रवाई
डॉक्टरों की मुख्य मांग थी कि डॉ. कुंदन के साथ मारपीट करने वाले आरोपियों को शीघ्र गिरफ्तार किया जाए। इस मांग को गंभीरता से लेते हुए जिला प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई की और संबंधित आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। देवघर के एसडीओ रवि कुमार ने स्वयं हस्तक्षेप करते हुए सदर अस्पताल में डॉक्टरों के साथ बैठक की और उन्हें प्रशासन की ओर से सुरक्षा का आश्वासन दिया।
जिला प्रशासन ने डॉक्टरों की सुरक्षा को बताया प्राथमिकता
बैठक में देवघर आईएमए के अध्यक्ष डॉ. धन्वंतरि तिवारी समेत जिले के प्रमुख चिकित्सक शामिल हुए। एसडीओ रवि कुमार ने स्पष्ट किया कि भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए जिला प्रशासन कड़े कदम उठाएगा। नगर थाना प्रभारी को भी डॉक्टरों की शिकायतों पर त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।
ओपीडी सेवाएं शुरू, मरीजों को राहत
हड़ताल समाप्त होने के बाद शुक्रवार से जिले की सभी ओपीडी सेवाएं सामान्य रूप से संचालित होंगी। इससे सैकड़ों मरीजों को राहत मिलने की संभावना है जो दो दिनों से उपचार के अभाव में लौटने को मजबूर थे। डॉक्टरों ने प्रशासन की कार्रवाई पर संतोष व्यक्त करते हुए अपने कार्य पर लौटने की पुष्टि की।
आईएमए अध्यक्ष ने की संयम रखने की अपील
देवघर आईएमए के अध्यक्ष डॉ. धन्वंतरि तिवारी ने आम जनता से संयम बनाए रखने की अपील की। उन्होंने कहा कि डॉक्टर हमेशा मरीज की जान बचाने का प्रयास करते हैं, लेकिन गंभीर बीमारियों में परिणाम हमेशा अनुकूल नहीं होते। ऐसे में चिकित्सकों पर हमला करना न केवल गैरकानूनी है, बल्कि समाज के लिए भी घातक है।
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