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Meerut: ड्यूटी से घर लौटे लेफ्टिनेंट कर्नल की अचानक मौत, अस्पताल तक ले जाने का नहीं मिला वक्त, पढ़ें पूरी वजह

अभिनव मलिक ने अपनी पढ़ाई सेंट मैरी स्कूल से की थी और 12वीं के बाद साढ़े सत्रह साल की उम्र में सेना में टेक्निकल एंट्री के माध्यम से भर्ती हुए थे। उन्होंने अपने करियर में काफी ऊंचाइयां प्राप्त कीं और 38 साल की उम्र में लेफ्टिनेंट कर्नल के पद तक पहुंचे।

by Anurag Ranjan
लेफ्टिनेंट कर्नल, अचानक घबराहट हुई, अस्पताल ले जाते समय हार्ट अटैक से हो गई मौत
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मेरठ : सैनी गांव निवासी 38 वर्षीय लेफ्टिनेंट कर्नल अभिनव मलिक की हार्ट अटैक से मौत हो गई। वह वर्तमान में तेलंगाना राज्य के सिकंदराबाद में तैनात थे। उनके परिवार के अनुसार, अभिनव मलिक का दिल का दौरा रविवार रात करीब 10:30 बजे आया। वह ड्यूटी से घर लौटे थे, और उस समय अचानक उनकी तबियत बिगड़ी। उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया, लेकिन अस्पताल पहुंचने से पहले ही रास्ते में उनकी मृत्यु हो गई।

परिवार के सदस्य तेलंगाना से मेरठ रवाना

अभिनव मलिक के परिवार में उनके पिता, सेवानिवृत्त कर्नल रणवीर सिंह मलिक, उनकी मां राजिंद्री, पत्नी तनु मलिक, चार साल की बेटी मायरा, और एक शादीशुदा बड़ी बहन विभा हैं। उनके चचेरे भाई भाजपा नेता मोहित मलिक के मुताबिक, यह घटना उनके परिवार के लिए अत्यंत दुखद है। परिवार के सदस्य तुरंत तेलंगाना से मेरठ के लिए रवाना हो गए। इस दुखद समाचार के बाद उनके घर पर लोग भी पहुंचने लगे।

पिता भी हैं कर्नल पद से रिटायर

अभिनव मलिक ने अपनी पढ़ाई सेंट मैरी स्कूल से की थी और 12वीं के बाद साढ़े सत्रह साल की उम्र में सेना में टेक्निकल एंट्री के माध्यम से भर्ती हुए थे। उन्होंने अपने करियर में काफी ऊंचाइयां प्राप्त कीं और 38 साल की उम्र में लेफ्टिनेंट कर्नल के पद तक पहुंचे। उनके पिता रणवीर सिंह मलिक भी सेना में कर्नल के पद से सेवानिवृत्त हैं और उनके दादा गुरु वचन सिंह मलिक 101 वर्ष की आयु में गन्ना विभाग से सेवानिवृत्त हैं।

सैन्य सम्मान के साथ किया जाएगा अंतिम संस्कार

परिवार के अनुसार, अभिनव मलिक का पार्थिव शरीर सोमवार देर रात तेलंगाना से मेरठ पहुंचेगा। मंगलवार को सैनी गांव में स्थित श्मशान घाट पर उनका अंतिम संस्कार सैन्य सम्मान के साथ किया जाएगा। यह घटना पूरे गांव और परिवार के लिए एक भारी सदमा है, और सैन्य सम्मान के साथ अभिनव को अंतिम विदाई दी जाएगी। उनकी अनदेखी की जा रही सेवा और बलिदान को हमेशा याद किया जाएगा।

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