सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को NEET-UG 2024 परीक्षा में पेपर लीक और कदाचार से संबंधित याचिका पर सुनवाई करते हुए मामला बंद कर दिया। अदालत ने कहा कि अब इस मुद्दे पर किसी अन्य आदेश की आवश्यकता नहीं है, क्योंकि केंद्र सरकार ने सुधारों को लेकर उचित कदम उठाने का आश्वासन दिया है।
सात सदस्यीय समिति की सिफारिशें स्वीकार
केंद्र सरकार की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कोर्ट को बताया कि सरकार ने विशेषज्ञ समिति की सभी सिफारिशों को स्वीकार कर लिया है। यह समिति पूर्व इसरो प्रमुख के. राधाकृष्णन की अध्यक्षता में गठित की गई थी। इसका उद्देश्य NTA की कार्यप्रणाली की समीक्षा करना और NEET जैसी परीक्षाओं को पारदर्शी तथा निष्पक्ष बनाना था।
फिलहाल ऑनलाइन NEET नहीं होगा
हालांकि, सरकार ने यह स्पष्ट किया कि फिलहाल NEET परीक्षा को ऑनलाइन आयोजित करने की सिफारिश को अमल में नहीं लाया जाएगा। इसका कारण बताते हुए कहा गया कि देशभर में कंप्यूटर और इंटरनेट की उपलब्धता की समीक्षा करना जरूरी है, जिसमें समय लगेगा। इसलिए यह सुझाव अभी लागू नहीं किया जाएगा।
पिछले साल कोर्ट ने परीक्षा रद्द करने से किया था इनकार
2 अगस्त 2024 को सुप्रीम कोर्ट ने यह कहते हुए NEET-UG परीक्षा को रद्द करने से इनकार कर दिया था कि उपलब्ध रिकॉर्ड में कोई ऐसा सबूत नहीं है जिससे यह साबित हो कि पेपर लीक या कदाचार व्यापक स्तर पर हुआ और परीक्षा की निष्पक्षता पर असर पड़ा।
सरकार के आश्वासन के बाद कोर्ट का फैसला
सरकार द्वारा समिति की सिफारिशें लागू करने का आश्वासन दिए जाने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने यह मामला बंद कर दिया। अदालत ने कहा कि भविष्य में परीक्षा प्रणाली को और बेहतर बनाने के लिए इन सिफारिशों का पालन जरूरी है।