हाथरस: जिले में पिछले सप्ताह स्कूल के प्रबंधक की ओर से कथित ‘काले जादू’ के तहत मानव बलि की रस्म निभाई गयी। इसके तहत कक्षा 2 में पढ़ने वाले एक 11 वर्षीय छात्र की हत्या कर दी गई। स्कूल की तरक्की के लिए इस घटना को अंजाम दिया गया। प्रारंभिक छानबीन में स्थानीयों से पता चला है कि स्कूल के मालिक जसोधन सिंह, जो ‘तांत्रिक’ अनुष्ठानों में विश्वास करते हैं। उन्होंने अपने बेटे (स्कूल के निदेशक) दिनेश बघेल से स्कूल और अपने परिवार की “समृद्धि” के लिए एक बच्चे की बलि देने को कहा था।
तांत्रिक अनुष्ठान के लिए बच्चे को उतारा मौत के घाट
इस मामले में हाथरस के हाथरस पुलिस अधीक्षक (एसपी) निपुण अग्रवाल ने बताया कि इन सभी ने मिलकर छात्र की बलि दी, ताकि स्कूल की सफलता और प्रतिष्ठा बढ़ाने के लिए तंत्र-मंत्र का सहारा लिया जा सके। पुलिस अब यह जांच कर रही है कि इस हत्या में और कौन लोग शामिल हो सकते हैं।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) अशोक कुमार सिंह ने पीटीआई को बताया कि 23 सितंबर को पिता-पुत्र की जोड़ी ने तीन अन्य कर्मचारियों के सहयोग से स्कूल के छात्रावास से एक छात्र का अपहरण किया और उसे बलि देने के लिए एकांत स्थान पर ले गए। हालांकि, छात्र जाग गया और रोने लगा। इसके बाद आरोपियों ने लड़के का गला घोंटकर उसकी हत्या कर दी।
उन्होंने बताया कि जांच में यह खुलासा हुआ है कि इस वारदात में स्कूल के डायरेक्टर दिनेश बघेल, उनके पिता यशोधन सिंह, शिक्षक लक्ष्मण सिंह, वीरपाल सिंह और रामप्रकाश सोलंकी शामिल थे।
कार से बरामद किया गया शव
स्कूल के कार्यालय से बच्चे के माता-पिता को सूचना दी गई कि उनके बेटे की तबीयत खराब हैं। जब परिजन स्कूल पहुंचे तो उन्हे बताया गया कि स्कूल निदेशक बच्चे को अस्पताल ले गए है। हालांकि, बच्चे के परिजनों ने बीच रास्ते में ही कार रोक दी और उन्हें उनके बेटे की मौत के बारे में पता चला। बच्चे का शव कार से बरामद किया गया। इसके बाद उन्होंने इस घटना की सूचना तुरंत पुलिस को दी।