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TTD MOU WITH GOOGLE : तिरुपति में अब GOOGLE की AI तकनीक से भगवान वेंकटेश्वर के निर्बाध दर्शन, कतारों में आएगी कमी

तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम के साथ समझौता हो जाने के बाद गूगल के एआई द्वारा श्रद्धालुओं की संख्या और समय का डेटा इकट्ठा कर पीक सीजन में आने वाले यात्रियों की भीड़ को नियंत्रित किया जाएगा

by Rakesh Pandey
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तिरुमाला: तिरुमाला में भगवान वेंकटेश्वर के दर्शन के लिए तिरुपति आने वाले श्रद्धालुओं के लिए एक बड़ी खुशखबरी है। अब भक्तों को लंबी कतारों में खड़ा होकर इंतजार नहीं करना पड़ेगा। तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) ने गूगल के साथ समझौता करने की तैयारी शुरू कर दी है, जिसके तहत गूगल अपनी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) सेवाएं मुफ्त में प्रदान करेगा। इससे दर्शन प्रक्रिया तेज और सुगम होगा। भक्तों को त्वरित एवं सुविधाजनक अनुभव मिलेगा।

क्या होगा इस नई प्रणाली का फायदा?

टीटीडी और गूगल के बीच एक सप्ताह से दस दिनों में समझौता होने की संभावना है। टीटीडी का लक्ष्य है कि एआई तकनीक को अपने संचालन के कई पहलुओं में एकीकृत किया जाए, जिसमें कतार प्रबंधन, आवास, और अन्य जरूरी सेवाएं शामिल हैं। गूगल के एआई द्वारा श्रद्धालुओं की संख्या और समय का डेटा इकट्ठा कर पीक सीजन में आने वाले यात्रियों की भीड़ को नियंत्रित किया जाएगा, जिससे तीर्थयात्रियों के अनुभव में सुधार होगा। इसके साथ ही विभिन्न भाषाओं में आने वाले भक्तों को भी गूगल के एआई द्वारा मार्गदर्शन मिलेगा, ताकि उन्हें किसी प्रकार की कठिनाई का सामना न करना पड़े।

भीड़ नियंत्रण और सुरक्षा होगी बेहतर

गूगल की एआई तकनीक के लागू होने के बाद, श्रद्धालु अब गूगल मैप्स के माध्यम से भीड़ की स्थिति की जांच कर सकेंगे। इसके अलावा, उन्हें कमरे की उपलब्धता, स्वास्थ्य केंद्र, अन्ना प्रसादम केंद्र और अन्य महत्वपूर्ण स्थानों के बारे में मोबाइल नोटिफिकेशन के जरिए जानकारी मिल जाएगी। इस तकनीक के लागू होने से श्रद्धालुओं को शेड्स और अन्य स्थानों पर लंबी प्रतीक्षा करने की आवश्यकता नहीं होगी, जिससे उनके अनुभव में और भी आरामदायक बदलाव आएगा।

हर गतिविधि पर नजर रखेंगे कैमरे

एआई-संचालित कैमरे तिरुमाला में विभिन्न रणनीतिक स्थानों पर लगाए जाएंगे, जिससे सुरक्षा व्यवस्था मजबूत होगी। ये कैमरे पुलिस और सुरक्षा कर्मचारियों को संदिग्ध गतिविधियों की पहचान करने और अपराधियों पर नजर रखने में मदद करेंगे। इस प्रणाली के जरिए दलालों की गतिविधियों पर भी कड़ी निगरानी रखी जाएगी, जिससे श्रद्धालुओं को धोखाधड़ी से बचाया जा सकेगा।

भक्तों के लिए स्थायी आईडी का प्रस्ताव

यदि यह एआई परियोजना सफल रहती है, तो टीटीडी प्रत्येक भक्त के लिए एक स्थायी आईडी शुरू करने की योजना बना रहा है। इस आईडी के माध्यम से तीर्थयात्री दर्शन, आवास और अन्य सेवाओं को आसानी से बुक कर सकेंगे। यह आईडी तीर्थयात्रियों के लिए एक स्थायी रिकॉर्ड बनेगी, जिससे सुविधाओं का प्रबंधन और अधिक सुविधाजनक होगा। साथ ही, भक्तों को शिकायत दर्ज करने, प्रतिक्रिया देने और अधिकारियों से सुझाव साझा करने का भी एक आसान तरीका मिलेगा, जिससे जवाबदेही में सुधार होगा।

हमारा लक्ष्य तिरुमाला के समग्र प्रबंधन में सुधार : श्यामला राव

टीटीडी के कार्यकारी अधिकारी श्यामला राव ने इस नई पहल पर कहा, “गूगल के साथ हमारा समझौता मुख्यमंत्री के निर्देश के अनुरूप है, ताकि आम श्रद्धालुओं के तीर्थयात्रा अनुभव को बेहतर बनाया जा सके। एआई-संचालित प्रणाली का परीक्षण पहले एक पायलट परियोजना के रूप में किया जाएगा, और इस दौरान विभिन्न चुनौतियों की पहचान की जाएगी। हमारा लक्ष्य तिरुमाला के समग्र प्रबंधन में सुधार करना है, ताकि श्रद्धालुओं को एक निर्बाध, परेशानी मुक्त दर्शन अनुभव मिल सके।

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